सरकार ने 10 मिलियन दर्शकों की क्षमता वाला अपना OTT प्लेटफॉर्म किया लॉन्च
Date : 21-Nov-2024
भारत के सार्वजनिक प्रसारक प्रसार भारती ने अपना OTT प्लेटफॉर्म "वेव्स" लॉन्च किया है, जो Android और iOS पर उपलब्ध है। इसे "वेव्स - फैमिली एंटरटेनमेंट की नई लहर" के रूप में प्रस्तुत किया गया है। इस प्लेटफॉर्म का उद्देश्य लाइव चैनल्स और ऑन-डिमांड कंटेंट के जरिए विभिन्न मनोरंजन विकल्प प्रदान करना है, और इसका कोई सब्सक्रिप्शन शुल्क नहीं है। डिजिटल युग में कदम रखते हुए प्रसार भारती ने इस ऐप के माध्यम से नई मनोरंजन संभावनाओं को खोल दिया है।
Waves OTT प्लेटफॉर्म पर क्या है खास:
Waves पर करीब 40 लाइव चैनल्स उपलब्ध हैं, जिनमें प्रमुख नेटवर्क जैसे B4U, ABZY, SAB ग्रुप, और 9X मीडिया शामिल हैं।
इसके अलावा, प्रमुख समाचार चैनल जैसे इंडिया टुडे, न्यूज नेशन, रिपब्लिक, एबीपी न्यूज, न्यूज24, और एनडीटीवी इंडिया भी इस प्लेटफॉर्म पर देखे जा सकते हैं। सभी दूरदर्शन और आकाशवाणी चैनल्स भी Waves पर उपलब्ध हैं।
लाइव टीवी के साथ-साथ, Waves पर दर्शकों को फिल्में (जैसे आरक्षण, वन डे, द इम्पॉसिबल, और एलिस डार्लिंग), टीवी शो, गेम्स, और लाइव इवेंट्स भी मिलेंगे। यह प्लेटफॉर्म विविध रुचियों के दर्शकों के लिए कंटेंट प्रदान करता है।
यह भारतीय संस्कृति और विरासत के प्रचार और संरक्षण पर भी जोर देता है। सूचना और प्रसारण मंत्री अश्विनी वैष्णव ने इसे भारतीय कंटेंट को देशभर के घरों तक पहुंचाने का महत्वपूर्ण माध्यम बताया है।
10 मिलियन दर्शकों की क्षमता:
Waves प्लेटफॉर्म का इंफ्रास्ट्रक्चर RailTel द्वारा तैयार किया गया है और इसे AWS की क्लाउड सेवाएं सपोर्ट करती हैं। यह SD, HD और 4K जैसे विभिन्न रिज़ॉल्यूशन को सपोर्ट करता है और 10 मिलियन दर्शकों तक की क्षमता रखता है।
इस OTT प्लेटफॉर्म पर कोई सब्सक्रिप्शन चार्ज नहीं है।
मनोरंजन चैनल्स:
समाचार चैनल्स:
सार्वजनिक चैनल्स:
कैसे करें इसका उपयोग:
Waves ऐप को Android और iOS पर मुफ्त में डाउनलोड करें। ऐप इंस्टॉल करने के बाद, अपनी पसंद के चैनल्स, फिल्में, या लाइव इवेंट्स स्ट्रीम करें। दूरदर्शन, आकाशवाणी सहित 40+ चैनल्स और ऑन-डिमांड कंटेंट का आनंद लें, और किसी भी सब्सक्रिप्शन शुल्क की आवश्यकता नहीं है।
रेवेन्यू शेयरिंग मॉडल:
प्रसार भारती ने एक रेवेन्यू शेयरिंग मॉडल पेश किया है, जिसके तहत भाग लेने वाले ब्रॉडकास्टर्स को प्लेटफॉर्म पर उत्पन्न विज्ञापन राजस्व का 65% हिस्सा मिलेगा, जबकि प्रसार भारती 35% हिस्सा अपने पास रखेगा।