भाजपा ने पश्चिम बंगाल पुलिस पर कोलकाता की एक छात्रा के कथित सामूहिक बलात्कार मामले की निष्पक्ष जांच न करने और तथ्यों से छेड़छाड़ करने का आरोप लगाया है। नई दिल्ली में मीडिया को जानकारी देते हुए भाजपा नेता सत्यपाल सिंह ने कहा कि घटना में शामिल मुख्य आरोपी का नाम प्राथमिकी से हटा दिया गया है।
सिंह, जो इस मामले की जांच के लिए गठित चार सदस्यीय पार्टी समिति के सदस्य हैं, ने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर राज्य में अपराधियों को संरक्षण देने का भी आरोप लगाया। समिति की रिपोर्ट पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्डा को सौंप दी गई है, जिसमें मामले की स्वतंत्र न्यायिक जांच की सिफारिश की गई है।
समिति में सत्यपाल सिंह के साथ मीनाक्षी लेखी, बिप्लब कुमार देब और मनन कुमार मिश्रा भी शामिल थे। रिपोर्ट मिलने के बाद एक सोशल मीडिया पोस्ट में जेपी नड्डा ने कहा कि यह रिपोर्ट पश्चिम बंगाल में बढ़ती अराजकता और कानून व्यवस्था की बदहाल स्थिति को उजागर करती है। उन्होंने आरोप लगाया कि संदेशखली, आरजी कर अस्पताल और अब यह घटना—तीनों में ही राज्य सरकार की चुप्पी, निष्क्रियता और आरोपियों को संरक्षण देने का एक जैसा पैटर्न सामने आया है।