कच्चा पपीता यूरिक एसिड को करता है कंट्रोल | The Voice TV

Quote :

भविष्य का निर्माण करने के लिए सपने से बढ़कर कुछ नहीं है - विक्टर ह्यूगो

Health & Food

कच्चा पपीता यूरिक एसिड को करता है कंट्रोल

Date : 14-Feb-2025

शरीर में यूरिक एसिड की मात्रा बढ़ने की स्थिति को हाइपरयूरिसीमिया कहा जाता है। यूरिक एसिड बढ़ने से शरीर के जोड़ों में तेज दर्द होने लगता है। घुटनों में दर्द इतना ज़्यादा बढ़ जाता है कि उठने बैठने में भी समस्या होने लगती है।ऐसे में इस समस्या से जूझ रहे लोगों को उन फूड्स का सेवन करना चाहिए, जिसमें भरपूर मात्रा में विटामिन, मिनरल्स और प्रोटीन मौजूद होते हैं। ऐसे में आप पपीता के ज़रिये भी आप यूरिक एसिड को कंट्रोल कर सकते हैं। पपीते में विटामिन सी भरपूर मात्रा में होता है, इसलिए ये प्राकृतिक रूप से यूरिक एसिड के उच्च स्तर को कम करने में मदद करते हैं। ज़्यादातर अध्ययनों से पता चलता है कि प्रतिदिन 500 मिलीग्राम विटामिन सी लेने से लोगों को गाउट के दर्द से निपटने में मदद मिल सकती है।

कच्चा पपीता यूरिक एसिड को कैसे करता है कंट्रोल?

कच्चे पपीते में विटामिन-सी, एंटी-ऑक्सीडेंट और एंटी-इंफ्लामेटरी जैसे गुण मौजूद होते हैं। पपीते में मौजूद फाइबर, यूरिक एसिड के मरीजों को जोड़ों में दर्द से राहत दिलाने में मदद करता है। कच्चे पपीते को नेचुरल पेनकिलर भी कहा जाता है। क्योंकि, इसमें एंजाइम पपाइन मौजूद होते हैं, यह शरीर में साइटोकींस नाम के प्रोटीन का उत्पादन बढ़ाता है।

ऐसे करें पपीता का सेवन:

शरीर में यूरिक एसिड की मात्रा को कंट्रोल करने के लिए आप पपीते का अलग-अलग तरीकों से सेवन कर सकते हैं। कच्चे पपीते का आप जूस और काढ़ा बनाकर भी पी सकते हैं। कच्चे पपीते का काढ़ा स्वास्थ्य के लिए काफी फायदेमंद होता है। काढ़ा बनाने क लिए  2 लीटर पानी को उबाल लें। फिर एक कच्चे पपीते को छोटे-छोटे टुकड़ों में काट लें और उसके अंदर से बीज निकाल लें। इन टुकड़ों को उबलते हुए पानी में डालें और करीब 5 मिनट तक उबालें। फिर इस पानी में 2 चम्मच ग्रीन टी डालकर उबाल लें। इस काढ़े का दिन में 3 से 4 बार सेवन करना फायदेमंद साबित हो सकता है। इससे आपके शरीर में यूरिक एसिड की मात्रा नियंत्रित हो जाएगी। 

 
RELATED POST

Leave a reply
Click to reload image
Click on the image to reload









Advertisement