गुवाहाटी, 18 सितम्बर। असम के मुख्यमंत्री डॉ. हिमंत बिस्व सरमा ने आज विश्व बांस दिवस के अवसर पर राज्य की उस उपलब्धि को रेखांकित किया, जिसमें प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने हाल ही में नुमलीगढ़ में दुनिया का पहला बांस आधारित बायो-एथेनॉल प्रोजेक्ट राष्ट्र को समर्पित किया था।
करीब 5,000 करोड़ रुपये की लागत से बना यह अत्याधुनिक प्लांट न केवल भारत का पहला 2-जी बायो-रिफाइनरी है, बल्कि विश्व के अग्रणी औद्योगिक प्रतिष्ठानों में से है, जो कच्चे माल के रूप में बांस का उपयोग करके एथेनॉल का उत्पादन करता है। इस परियोजना से असम के लगभग 30,000 ग्रामीण परिवारों को लाभ होगा।
बायो-एथेनॉल उत्पादन के अलावा, यह रिफाइनरी सक्रिय औषधीय घटक (एपीआई) इंटरमीडिएट्स, फूड ग्रेड सीओ2 और बायो-कोल जैसे उच्च मूल्य वाले औद्योगिक उत्पाद भी तैयार करेगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि यह परियोजना खेती और विनिर्माण के संगम का उदाहरण है और असम के बांस उद्योग के लिए असीम संभावनाओं के द्वार खोलेगी, जिससे ग्रामीण अर्थव्यवस्था को नई दिशा मिलेगी