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राष्ट्र की प्रगति में क्रियाशील एनटीपीसी ने पूरे किए स्थापना के स्वर्णिम 47 वर्ष

Date : 08-Nov-2022

 बेगूसराय, 07 नवम्बर (हि.स.)। संपूर्ण देश की बिजली आवश्यकता को पूरा करने के लिए स्थापित राष्ट्रीय ताप विद्युत निगम (एनटीपीसी) ने सोमवार को अपनी स्थापना के स्वर्णिम 47 वर्ष पूरे कर लिए।सात नवम्बर 1975 को अपने स्थापना काल से राष्ट्र की प्रगति में लगातार क्रियाशील रहकर नित नई ऊंचाई लक्ष्य को हासिल कर रही एनटीपीसी नरेन्द्र मोदी की नेतृत्व वाली सरकार में अपने ऊर्जा सघन लक्ष्यों की घोषणा करने वाली दुनिया की पहली ऊर्जा कंपनी भी बन गई है।

भारत की सबसे बड़ी एकीकृत इस ऊर्जा कंपनी ने 69454 मेगावॉट समूह स्थापित और वाणिज्यिक क्षमता हासिल कर लिया है। आज एनटीपीसी के पास 23 कोयला आधारित प्लांट, सात गैस आधारित प्लांट, एक हाइड्रो प्लांट, एक स्माल हाइड्रो प्लांट, 20 सोलर एनर्जी प्लांट, एक वाइंड एनर्जी प्लांट एवं 17 ज्वाइंट वेंचर के माध्यम से यह सार्वजनिक उपक्रम लगातार अपने लक्ष्य की ओर आगे बढ़ रहा है।

इसके साथ ही सौर ऊर्जा क्षेत्र में अपनी पहुंच बढ़ाई। राष्ट्रीय ताप विद्युत निगम अपने मौजूदा स्टेशनों में अक्षय ऊर्जा परियोजनाओं की स्थापना के साथ-साथ ग्रीन फील्ड नवीकरणीय ऊर्जा परियोजनाओं को स्थापित करके ग्रीनहाउस गैस उत्सर्जन को कम करके अपने कार्बन उत्सर्जन को लगातार कम कर रहा है।

कंपनी ने अपने विभिन्न स्टेशनों पर नौ लाख 50 हजार से अधिक पीवी मॉड्यूल स्थापित करके अपने जलाशय क्षेत्र के 13 सौ एकड़ से अधिक भाग पर 262 मेगावाट फ्लोटिंग सोलर ऊर्जा स्थापित करने की योजना बनाई है, जिसमें से 242 मेगावाट का सन्यंत्र चालू किया गया है। देश का सबसे बड़ा फ्लोटिंग सौर ऊर्जा संयंत्र भी इसी के पास है जो वार्षिक आधार पर आधा मिलियन टन से अधिक कार्बन डाई ऑक्साइड उत्सर्जन को कम करने में सहायक होंगी।

अपने ऊर्जा सघन लक्ष्यों की घोषणा करने वाली दुनिया की पहली ऊर्जा कंपनी बनी एनटीपीसी ने ''नेट जीरो'' लक्ष्यों को प्राप्त करने के लिए नीति आयोग के साथ भी सहयोग किया है। एनटीपीसी समूह 2032 तक 60 गीगावाट नवीकरणीय ऊर्जा प्राप्त करने की योजना पर काम कर रही है।

वर्तमान में एनटीपीसी के पास कार्यान्वयन और निष्पादन के तहत 3.9 गीगावाट के साथ 2.3 गीगावाट चालू नवीकरणीय क्षमता है। एनटीपीसी के पास निविदा प्रक्रिया के तहत 4.9 गीगावॉट अक्षय ऊर्जा क्षमता भी है जो भारत के सबसे बड़े बिजली उत्पादक के हरित ऊर्जा पोर्टफोलियो को और मजबूत करेगी।

कंपनी द्वारा उत्पादकता के साथ सुरक्षा को भी प्राथमिकता के रूप में लिया है। सभी गतिविधियों के सुचारु रुप से चलाने के लिए सुरक्षित वातावरण का होना सबसे महत्वपूर्ण होती है। एनटीपीसी द्वारा शून्य दुर्घटना का लक्ष्य रखा गया है, जिसके लिए सुरक्षा से संबंधित सभी मानकों को गंभीरता से पालन किया जा रहा है।

पूरे देश की बिजली आवश्यकता को पूरा कर रही एनटीपीसी बिहार के औद्योगिक राजधानी बेगूसराय के हर घर ही नहीं तमाम छोटे-बड़े उद्योग के मशीनरी को भी तो जी से चला रही है। एनटीपीसी ने बंद हो चुके बरौनी थर्मल पावर स्टेशन का 15 दिसम्बर 2018 को अधिग्रहण किया। बंद इकाई को पुनर्जीवित कर उसे विस्तारित करना एक चुनौतीपूर्ण कार्य होता है।

लेकिन नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व वाली सरकार में इस चुनौती को स्वीकार करते हुए ना केवल पुराने यूनिट को चालू किया गया, बल्कि नवनिर्मित प्लांट से भी निर्बाध उत्पादन कर अनेक बाधाओं को पार करते हुए आज 610 मेगावाट बिजली उत्पादन कर भारत के मानचित्र पर ऊर्जा के क्षेत्र में अपनी उपस्थिति दर्ज करा रही है। कर्मचारियों के अथक प्रयासों से कई ऐतिहासिक मील का पत्थर हासिल किए। एनटीपीसी बरौनी अपनी सामाजिक दायित्वों के प्रति भी समान रूप से सजग है। निर्बाध रूप से विद्युत उत्पादन के साथ सामाजिक विकास के कार्यों का भी निरंतर संपादन किया जा रहा है।

हिन्दुस्थान समाचार/सुरेन्द्र

 
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