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यूएस के कॉन्सुलेट जनरल हेंकी ने की भोपाल के कुदरती सौंदर्य की तारीफ

Date : 15-Nov-2022

 -मुख्यमंत्री से मिले यूएस के कॉन्सुलेट जनरल मिचेल हेंकी

-ओंकारेश्वर के बाद बरगी और गांधी सागर जलाशयों में फ्लोटिंग प्लांट लगाने का विचारः शिवराज

भोपाल, 14 नवंबर (हि.स.)। अमेरिका के कॉन्सुलेट जनरल (महा वाणिज्य दूत) मिचेल हेंकी ने भोपाल प्रवास के प्राकृतिक सौंदर्य की तारीफ की है। यूएस कॉन्सुलेट जनरल सोमवार शाम को मुख्यमंत्री निवास पहुंचे थे। यहां उन्होंने मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान से सौजन्य भेंट की। मुख्यमंत्री चौहान ने कॉन्सुलेट जनरल हेंकी को जनवरी में हो रही ग्लोबल इंवेस्टर समिट के लिए भी आमंत्रित किया। हेंकी ने कहा कि भोपाल के कुदरती सौन्दर्य ने उन्हें प्रभावित किया है।

मुख्यमंत्री चौहान ने हेंकी का प्रदेश की जनता की ओर से स्वागत करते हुए कहा कि मध्यप्रदेश, देश का हृदय प्रदेश है। प्रधानमंत्री मोदी के आह्वान पर स्वच्छता के क्षेत्र में मध्यप्रदेश देश में सबसे आगे है। नवकरणीय ऊर्जा के क्षेत्र में रीवा जिले में स्थापित रीवा अल्ट्रा मेगा सोलर पावर प्रोजेक्ट एक प्रमुख परियोजना है, जिसकी लागत 4 हजार 500 करोड़ रुपये और क्षमता 750 मेगावाट है। ओंकारेश्वर में सौर ऊर्जा से संचालित फ्लोटिंग संयंत्र की स्थापना की पहल की गई है। भविष्य में बरगी और गांधी सागर जलाशय पर भी ऐसे संयंत्र लगाने का विचार है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि भारत और यूएस के मध्य विभिन्न क्षेत्रों में सहयोग बढ़ाने की व्यापक संभावनाएँ हैं। द्विपक्षीय व्यापार और निवेश की प्राथमिकताओं पर कार्य के लिए यह बैठक महत्वपूर्ण है। गत तीन वर्ष में मध्यप्रदेश से यूएस में होने वाले निर्यात में वृद्धि हुई है। वर्ष 2019-20 में 1.05 बिलियन यूएस डालर का निर्यात हुआ, वहीं यह आंकड़ा वर्ष 2020-21 में बढ़ कर 1.28 और वर्ष 2021-22 में बढ़ कर 1.43 बिलियन यूएस डालर हो गया है। मुख्य रूप से जो उत्पाद मध्यप्रदेश से यूएस निर्यात होते हैं उनमें बासमती चावल, दवाइयाँ, सूती वस्त्र, खाद्य तेल आदि शामिल हैं।

यूएस और मध्यप्रदेश के बीच सहयोग की संभावनाएं

मुख्यमंत्री ने बताया कि निवेश के रूप में मध्यप्रदेश की केंद्रीय और आदर्श भूमिका है। देश के करीब 60 प्रतिशत भू-भाग को मध्यप्रदेश से आसानी से कवर किया जा सकता है। राज्य सरकार द्वारा निवेशकों से नियमित संवाद होता है। यू.एस. एवं मध्यप्रदेश की उन्नत विनिर्माण, रिन्यूएबल एनर्जी, मशीनरी इक्विपमेंट्स, ऑटोमोबाइल, फार्मा और चिकित्सा उपकरण क्षेत्रों में साझेदारी है। इसे यू.एस. एवं मध्यप्रदेश की सरकारी संस्था एमपीआईडीसी और यूएसटीडीए के मध्य एमओयू कर और आगे ले जाया जा सकता है।

उन्होंने कहा कि प्रदेश में कृषि विकास, उद्यानिकी और खाद्य प्र-संस्करण के क्षेत्र में बहुत अच्छा आधार स्थापित है। मध्यप्रदेश, भारत में गेहूँ का सबसे बड़ा निर्यातक राज्य है। इस क्षेत्र में भी यूएस के साथ साझेदारी कर टेक्नोलॉजी ट्रांसफर कर निवेश की संभावनाएँ तलाशी जा रही हैं। कौशल विकास एवं प्रशिक्षण, नवाचार और अनुसंधान एवं विकास के क्षेत्र में सेंटर ऑफ एक्सीलेन्सेस, इन्क्यूबेशन सेंटर और कॉमन फेसिलिटी सेंटर को यूएस कंपनियों के साथ साझेदारी कर स्थापित करने के प्रयास हैं। प्रदेश में स्मार्ट सिटी विकास में साझेदारी एवं नवाचार के नवीन अवसर खोजने का कार्य भी प्राथमिकता में शामिल है। मध्यप्रदेश इन्फ्रा-स्ट्रक्चर (सड़क), वित्तीय और नवकरणीय क्षेत्रों में अधिक निवेश के लिए प्रयासरत है। प्रदेश में चयनित ओडीओपी उत्पादों को अमेरिका में विपणन के अवसर प्रदान करने की संभावनाएँ विद्यमान हैं। “स्टार्ट योर बिजनेस इन थर्टी डेज” की व्यवस्था का लाभ उद्यमियों को मिल रहा है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि मध्यप्रदेश में कानून-व्यवस्था की मजबूत स्थिति से उद्योगों के अनुकूल वातावरण है। आपराधिक तत्वों को सिर उठाने नहीं दिया जाता। मानवता को क्षति पहुँचाने वाले तत्वों को क्रश कर देने का संकल्प है। महिला सशक्तिकरण के प्रयासों, कचरे से ऊर्जा उत्पादन का कार्य कर वेस्ट टू वेल्थ में मध्यप्रदेश आगे है। ग्रीन एनर्जी और फार्मा सेक्टर का निरंतर विकास हो रहा है। चर्चा के दौरान औद्योगिक नीति और निवेश प्रोत्साहन विभाग के प्रमुख सचिव मनीष सिंह भी उपस्थित थे।

हिन्दुस्थान समाचार / मुकेश

 
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