चार जनजातीय समूहों के कलाकारों ने मनमोहक प्रस्तुतियां देकर किया स्वागत
उज्जैन/भोपाल, 14 जुलाई । उज्जैन स्थित विश्व प्रसिद्ध ज्योतिर्लिंग भगवान महाकालेश्वर की श्रावण-भादौ मास की पहली पहसी सवारी श्रावण माह के प्रथम सोमवार को धूमधाम से निकली। इस दौरान भगवान महाकाल ने श्री मनमहेश स्वरूप में अपने भक्तों को दर्शन दिए। सवारी के दौरान अवंतिकानाथ ने नगर का भ्रमण कर अपनी प्रजा का हाल जाना। सवारी में चार जनजातीय समूहों के कलाकारों ने मनमोहक प्रस्तुतियां देकर भगवान महाकाल का स्वागत किया।
श्री महाकालेश्वर मंदिर से शाम 4 बजे भगवान महाकाल की सवारी नगर भ्रमण पर निकली, इससे पहले श्री महाकालेश्वर मंदिर परिसर के सभामंडप में सर्वप्रथम भगवान श्री महाकालेश्वर का षोड़षोपचार पूजन-अर्चन किया गया। उसके पश्चात आरती हुई। पूजन-अर्चन व आरती शासकीय पुजारी पं. घनश्याम शर्मा द्वारा संपन्न कराई गई। आरती उपरांत उज्जैन के प्रभारी मंत्री गौतम टेटवाल, जल संसाधन मंत्री तुलसीराम सिलावट, पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री प्रहलाद पटेल, राजस्व मंत्री करण सिंह वर्मा ने भगवान श्री महाकालेश्वर का पूजन-अर्चन किया और आरती की। इस अवसर पर विधायक सतीश मालवीय, महेश परमार, जीतेंद्र पंड्या, नगर निगम सभापति कलावती यादव, संभागायुक्त संजय गुप्ता सहित अन्य अधिकारियों ने सभामंडप में भगवान श्री मनमहेश का पूजन किया।
सभामंडप में पूजन उपरांत अवंतिकानाथ भगवान श्री मनमहेश के स्वरूप में चांदी की नई पालकी में सवार होकर अपनी प्रजा का हाल जानने और भक्तों को दर्शन देने के लिए नगर भ्रमण पर निकले। पालकी जैसे ही श्री महाकालेश्वर मंदिर के मुख्य द्वार पर पहुंची, सशस्त्र पुलिस बल के जवानों द्वारा पालकी में विराजित भगवान श्री मनमहेश को सलामी (गार्ड ऑफ ऑनर) दी गई। सवारी मार्ग के दोनों ओर हजारों की संख्या में दर्शनार्थियों ने पालकी में विराजित श्री मनमहेश भगवान के भक्तिभाव से दर्शन लाभ लिये। गार्ड ऑफ ऑनर के बाद सवारी श्री महाकालेश्वर मंदिर से गुदरी चौराहा, बक्षी बाजार, कहारवाडी, होते हुए शाम छह बजे रामघाट पहुंची। भगवान महाकालेश्वर श्री मनमहेश के स्वरुप में अपने भक्तों को आशीर्वाद देने के लिए मां क्षिप्रा के तट पर पहुंचे।
रामघाट पर भगवान श्री महाकालेश्वर का पूजन-अर्चन और शिप्रा के जल से जलाभिषेक किया गया। पूजन-अर्चन पुजारी आशीष गुरु के द्वारा संपन्न कराया गया। इस दौरान प्रभारी मंत्री गौतम टेटवाल, जल संसाधन मंत्री तुलसीराम सिलावट ने भगवान श्री महाकालेश्वर का पूजन-अर्चन किया और आरती की। श्री महाकालेश्वर भगवान की श्रावण भादो मास की प्रथम सवारी में वैदिक उदघोष के साथ श्री महाकालेश्वर भगवान की प्रथम सवारी का स्वागत किया गया।
रामघाट पर भगवान श्री मनमहेश के पूजन उपरांत सवारी रामघाट से पुन: सवारी वापस रवाना हुई। रामानुजकोट, मोढ़ की धर्मशाला, कार्तिक चौक, खाती समाज मन्दिर, सत्यनारायण मन्दिर, ढाबा रोड, टंकी चौराहा, छत्री चौक, गोपाल मन्दिर, पटनी बाजार, गुदरी बाजार होती हुई सवारी श्री महाकालेश्वर मन्दिर में वापस पहुंचेगी। सवारी के आगे-आगे घुड़सवार, पुलिस बल, विभिन्न भजन मण्डलियां, जनजातीय नृत्य दल आदि भगवान भोलेनाथ के गुणगान एवं भजन-कीर्तन करते हुए साथ चल रहे हैं।
मुख्यमंत्री डॉ. माेहन यादव के मंशानुरूप गत वर्षानुसार संस्कृति विभाग भोपाल, जनजातीय लोक कला एवं बोली विकास अकादमी मध्य प्रदेश संस्कृति परिषद व त्रिवेणी कला एवं पुरातत्व संग्रहालय के माध्यम से भगवान श्री महाकालेश्वर की सवारी में जनजातीय कलाकारों का दल ने सहभागिता की। चार जनजातीय दल मनमोहक प्रस्तुति देते हुए भगवान श्री महाकालेश्वर भगवान की प्रथम सवारी में पालकी के आगे चल रहे थे। सवारी मार्ग पर हजारों की संख्या में श्रद्धालुओं ने बाबा महाकाल पर पुष्पवर्षा कर दर्शन लाभ लिये, सवारी मार्ग पर चहुंओर दर्शन के लिये भारी संख्या में जन-समूह उपस्थित रहा।
भजन मण्डलियों में सैंकड़ों महिलाओं ने शिव स्तुतियां की। सवारी में सम्मिलित भजन मंडलियां उत्साहपूर्वक डमरू और मजीरे बजाते हुए सवारी में आगे-आगे चले। विशाल ध्वज के साथ बाबा श्री महाकाल की पालकी निकाली गई। समाचार लिखे जाने तक शाम 7 बजे तक सवारी गोपाल मंदिर तक पहुंच चुकी थी।
मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने बाबा महाकाल के चरणों में किया नमन
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने श्रावण के सोमवार को 'एक्स' पर बाबा महाकाल के श्री चरणों में नमन और वंदन कर प्रसन्नता व्यक्त। उन्हाेंने कहा कि बाबा की सवारी में लघु मध्य प्रदेश के दर्शन हों, इसके लिए हमारी सरकार ने निर्णय लिया है कि बाबा महाकाल प्रदेश के मंडला, डिंडोरी, बालाघाट, धार, झाबुआ एवं छिंदवाड़ा जिले के जनजातीय भाई-बहनों द्वारा उपयोग में लाए जाने वाले पुरा वाद्य-यंत्रों के साथ ही अपनी यात्रा पर निकले। उन्हाेंने इस पहली सवारी में शामिल श्रद्धालुओं का स्वागत करते हुए कहा कि सावन का पहला सोमवार, बाबा महाकाल की सवारी, हम सबका सौभाग्य है। सावन सोमवार की सवारी में बाबा महाकाल अपने भक्तों के हालचाल जानने के लिए साल में एक बार नगर भ्रमण के लिए निकलते हैं। मुख्यमंत्री ने बताया कि चूंकि वे दुबई प्रवास पर हैं, इसलिए बाबा की सवारी के दर्शन नहीं कर पा रहे हैं। कहा कि आने वाले समय में बाबा की सवारी उज्जैन की गरिमा को और बढ़ाएगी। मुख्यमंत्री ने बाबा की सवारी में शामिल होने वाले सभी मंत्रियाें को अपनी ओर से शुभकामनाएं भी दी हैं।